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सस्ते दाम में फर्नीचर कैसे खोजे? 11 Jul 2012 | 12:27 am
आज कल फर्नीचर के दाम बहुत बढ़ गए है, आप सोच रहे होंगे की इसमें नयी बात क्या है, तो मै आप को बता दूँ की मै पिछले तीन दिनों से एक टेबल खोज रहा हूँ वो भी सस्ते दाम में, इसके बाद कुछ कुर्सीया भी खोजूंगा| अ...
सस्ते दाम में फर्नीचर कैसे खोजे? 11 Jul 2012 | 12:27 am
आज कल फर्नीचर के दाम बहुत बढ़ गए है, आप सोच रहे होंगे की इसमें नयी बात क्या है, तो मै आप को बता दूँ की मै पिछले तीन दिनों से एक टेबल खोज रहा हूँ वो भी सस्ते दाम में, इसके बाद कुछ कुर्सीया भी खोजूंगा| अ...
आज के बदलते परिवेश में बदलते माता पिता और उनकी मानशिकता 7 Jul 2012 | 12:00 pm
एक समय था जब माता पिता अपने पुत्रों में अच्छे गुणों का विकास करते थे, उनकी इच्छा होती थी की उनका बेटा बड़ा होकर एक अच्छा आदमी बने, वे सोचते थे की कही हमारा बेटा बिगड़ न जाये, लेकिन अब समाज में कई तरह ...
आज के बदलते परिवेश में बदलते माता पिता और उनकी मानशिकता 7 Jul 2012 | 12:00 pm
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आज के माँ बाप बच्चों से क्या उम्मीद रखते हैं 29 Jun 2012 | 01:48 pm
माँ बाप बच्चो को पालते हैं, उन्हें बड़ा करते हैं, उनकी जरूरतों का ख्याल रखते हैं, उन्हें पढ़ाते लिखाते हैं, पर माँ बाप अपने बच्चों से क्या उम्मीदे रखते हैं? मैंने इस बात पर काफी विचार किया और पाया की ...
आज के माँ बाप बच्चों से क्या उम्मीद रखते हैं 29 Jun 2012 | 01:48 pm
माँ बाप बच्चो को पालते हैं, उन्हें बड़ा करते हैं, उनकी जरूरतों का ख्याल रखते हैं, उन्हें पढ़ाते लिखाते हैं, पर माँ बाप अपने बच्चों से क्या उम्मीदे रखते हैं? मैंने इस बात पर काफी विचार किया और पाया की ...
हिन्दीकुंज Hindikunj 12 Jun 2012 | 10:18 am
हिन्दीकुंज (Hindikunj)हिंदी साहित्य की सेवा में समर्पित वेब की एक हिंदी साहित्यिक पत्रिका है, जहाँ आप को हिंदी साहित्यकारों का परिचय एवं उनकी रचनाओ का आस्वाद मिलता है| पुराने रचनाकारों की कहानिया और क...
हिन्दीकुंज Hindikunj 12 Jun 2012 | 10:18 am
हिन्दीकुंज (Hindikunj)हिंदी साहित्य की सेवा में समर्पित वेब की एक हिंदी साहित्यिक पत्रिका है, जहाँ आप को हिंदी साहित्यकारों का परिचय एवं उनकी रचनाओ का आस्वाद मिलता है| पुराने रचनाकारों की कहानिया और क...
क्या आप के यहाँ भी दोस्त और रिश्तेदार बिना पहले से खबर किये टपक पड़ते हैं 12 Jun 2012 | 01:55 am
एक समय था जब लोगो के पास मोबाइल नहीं होता था क्योकि यह एक महंगा सामान था, कुछ लोको के पास landline फ़ोन हुआ करते थे. लेकिन अब ऐसा नहीं है, अब देश की संचार व्यवस्था में क्रांति आई है. इसका फायदा हम सभी...
क्या आप के यहाँ भी दोस्त और रिश्तेदार बिना पहले से खबर किये टपक पड़ते हैं 12 Jun 2012 | 01:55 am
एक समय था जब लोगो के पास मोबाइल नहीं होता था क्योकि यह एक महंगा सामान था, कुछ लोको के पास landline फ़ोन हुआ करते थे. लेकिन अब ऐसा नहीं है, अब देश की संचार व्यवस्था में क्रांति आई है. इसका फायदा हम सभी...